नगर में उत्साह और उल्लास के साथ मनाई गई देवउठानी एकादशी, शुरू हुए मांगलिक कार्यशिवपुरी-देवश्वनी एकादशी के रूप में चार माह तक हुए देव आज चार्तुमास समापन उपरांत पूरे देश भर में बड़े ही उत्साह और उल्लास के साथ उठो देव हर बोलो... के जयघोष गुंयजान के साथ घर-घर देव उठाए गए। इस नगर में खूब गन्नों की बिक्री हुई और शहर के विभिन्न स्थानों पर गन्नों की लंबी-लंबी श्रृंखला देखते ही बन रही थी-दूर दराज से आए किसानों ने भी महंगाई के दौर में गन्ने की रेटों में काफी बढ़ोत्तरी की और 25 से 30 रूपये लेकर 50 रूपये तक की राशि का गन्ना बाजार में बिका। इसके अतिरिक्त फूलमाला और देव उठान में प्रयुक्त पूजन-सामग्री की भी बाजार में खूब बिक्री हुई। कुल मिलाकर सुबह से ही नगर में देव उठनी एकादशी का माहौल नजर आया और लोगों ने अपने-अपने घरों पर देव पूजन करते हुए देवों को उठाया।
गन्नों से सजा शहर का प्रमुख बाजार
अधिकांश बाजार आज शहर में गन्नों से सजा हुआ नजर आया। आईटीआई से शुरू होकर झांसी तिराहा, गुरूद्वारा चौक, माधवचौक चौराहा, कमलागंज एबी रोड़, शहर के अस्पताल चौराह से होकर अग्रसेन चौक और पोहरी रोड़ तक अलग-अलग स्थानों पर कृषकों ने टे्रक्टर ट्रॉलीयों के माध्यम से गन्नों की खूब बिक्री की हालांकि इसके बाद भी सुबह से लेकर सायं तक बाजार में अच्छा खासा गन्ना बिका हुआ नजर आया। इसके अलावा बाजार में कृषकों ने अपनी मनमर्जी अनुरूप गन्नों का विक्रय किया गया हालांकि सुबह 10 रूपये से प्रारंभ हुआ गन्ना सायं के समय तक 50 रूपये की राशि तक पहुंच गया। चूंकि देव उठनी एकादशी में गन्नों की पूजा का महत्व होता है इसलिए सभी लोग गन्नों को खरीदकर उन्हें देव के रूप में आंगन में पूजते हुए देवउठान एकादशी मनाते है।
मंदिरों पर भी खूब चढ़े गन्ने, विष्णु मंदिर पर रही भीड़
यूं तो देव उठनी एकादशी के रूप में श्रीहरि विष्णु अपनी चिर निन्द्रा से जागते है और फिर मांगलिक कार्य प्रारंभ होते है। इसी पंरपरा का निर्वाह करते हुए देव उठनी एकादशी के रूप में अधिकांश मंदिरों पर भी श्रद्धालुओं ने खूब गन्नों को भगवान के लिए चढ़ाया और अर्पित करते हुए पूजा-अर्चना की। इसी बीच श्रीहरि विष्णु के रूप में शहर के विष्णु मंदिर पर श्रद्धालुओं की सर्वाधिक भीड़ देखी गई, चूंकि आज गुरूवार का संयोग होने के कारण एकादशी का अैर अधिक महत्व श्रीहरि विष्णु दर्शन का बढ़ जाता है, इसे लेकर ही अधिकांश श्रद्धालु छत्री रोड़ स्थित श्रीविष्णु मंदिर पहुंचे और पूजा-अर्चना के साथ गन्नों को भी प्रसाद के रूप में चढ़ाया। इस अवसर पर कई श्रद्धालुओं ने देव उठनी एकादशी पर गरीब, निर्धन और बेसहारों की भी सेवा करते हुए पुण्य लाभ अर्जित किया उन्हें खान-पान और भोजन प्रसादी के साथ-साथ वस्त्र आदि देकर सेवा कार्य किया गया।
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