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Sunday, May 29, 2022

प्रखर राष्ट्रवादी नेता वीर सावरकर को किया गया याद, मूर्ति लगाने की मांग उठी


प्रगति बाजार में मनाई गई जयंती जनजागरण मंच के पूर्व पार्षद व भाजपा नेता यशवंत जैन ने रखी मूर्ति लगाने की मांग

शिवपुरी। शिवपुरी के प्रगति बाजार हलवाई खाना में भारतीय स्वतंत्रता आंदोलन के सेनानी और प्रखर राष्ट्रवादी नेता वीर सावरकर की 139वीं जयंती मनाई गई। प्रगति बाजार में शुक्रवार को जनजागरण मंच के पूर्व पार्षद व भाजपा नेता यशवंत जैन, भाजपा अनसूचित जाति मोर्चा के जिलाध्यक्ष महेश आदिवासी व उनके साथियों ने वीर सावरकर के चित्र पर माल्यापर्ण कर उन्हें याद किया। इस दौरान भाजपा नेता सहित अन्य समाजसेवीगण व स्थानीय दुकान साथी मौजूद रहे।

इस पुष्पांजलि कार्यक्रम के दौरान पूर्व पार्षद यशवंत जैन ने कहा कि वीर सावरकर साहस, संकल्प और त्याग की प्रतिमूर्ति थे। उन्होंने कहा कि वीर सावरकर के नाम पर शिवपुरी में पार्क है लेकिन मूर्ति नहीं है इसके लिए शिवपुरी के पार्क में वीर सावरकर की मूर्ति लगना चाहिए। यह शिवपुरी वासियों द्वारा श्री सावरकर के लिए एक सच्ची श्रद्धांजलि होगी। इस मौके पर वीर सावरकर का जीवन परिचय देते हुए श्री जैन ने बताया कि श्री सावरकर का जन्म 28 मई को 1883 में महाराष्ट्र के नासिक जिले के ग्राम भगूर में हुआ था। 

इस दौरान यशवंत जैन ने कहा कि वीर सावरकर बीए पास करने के बाद वह वर्ष 1906 में इंग्लैंड चले गए और लंदन के इंडिया हाउस में रहते हुए क्रांतिकारी गतिविधियों के साथ लेखन कार्य में जुट गए। इंडिया हाउस उन दिनों राजनीतिक गतिविधियों का केंद्र था जिसे पंडित श्यामजी चला रहे थे। सावरकर ने फ्री इंडियाÓ सोसाइटी का निर्माण किया जिससे वह भारतीय छात्रों को स्वतंत्रता के लिए लडऩे को प्रेरित करते थे। उनकी एक लेखक के तौर पर यहीं से पहचान बननी प्रारंभ हुई। वर्ष 1907 में 1857 का स्वातंर्त्य समरÓ नामक पुस्तक लिखनी प्रारंभ की। उनके मन में आजादी की अलख जल रही थी। अपने जीवनकाल में संघर्षों के बाद भी उन्होंने विपुल लेखन किया।

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