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Shishukunj

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Thursday, December 5, 2019

मानवीय संवेदनाओं को भूला जिला चिकित्सालय, ठिठुरती ठण्ड में कराहती रही नसबंदी कराई महिलाऐं

जमीन पर फर्श डालकर लिटाया महिलाओं को
शिवपुरी- कभी अपने समय में स्वास्थ्य सेवाओं के लिए कायाकल्प अभियान के रूप में नं.01 का तमगा हासिल करने वाला जिले का एक मात्र जिला चिकित्सालय तो शायद आज वही हालात में मिल जाए लेकिन जिले में पदस्थ चिकित्सकों की बात की जाए तो ऐसा प्रतीत होता है जैसे इनकी मानवीय संवेदनाऐं मृत प्राय: हो गई हो। क्योंकि बीते रोज जिला चिकित्सालय में सर्दी के मौसम में ऑपरेशन का दर्द सहन कर अपने घर-परिवार को संयमिति रखने के लिए नसबंदी शिविर का आयोजन जिला चिकित्सालय के जिम्मेदारों द्वारा किया गया लेकिन यह क्या, यहां तो नसबंदी कराने आई महिलाओं ने शासन की योजना का लाभ लेकर अपनी नसबंदी ऑपरेशन भी करा लिया लेकिन जिला चिकित्सालय प्रबंधन यह लापरवाही के आलम में नजर आया जिन्होंने ठिठुरन भरी ठण्ड के मौसम में इन नसबंदी ग्रस्त महिलाओं की सुध लेने के बजाए उन्हें सर्दी के इस मौसम का सामना करने के लिए जमीन पर ही फर्श डालकर लिटा दिया जिससे रात भर महिलाऐं ठण्ड की ठिठुरन से ठिठुरती हुई नजर आई। ऐसे में जिला चिकित्सालय के इन जिम्मेदारों का अमानवीय चेहरा इस घटना से साफ नजर आता है बाबजूद इसके जिला चिकित्सालय के मुखिया अथवा जिला प्रशासन की मुखिया कलेक्टर जो कि स्वयं एक महिला होकर महिलाओं के दर्द उसके मर्म को भलीभांति समझती हो उन्होंने भी इन महिलाओं की पीड़ा को नहीं समझा और मामला सुंबह संज्ञान में आने के बाद भी संबंधितों के विरूद्ध कोई ठोस कार्यवाही नहीं की गई। यहां जिन जिम्मेदारों के लिए महिला नसबंदी शिविर लगाया गया तो वहीं नसबंदी कराने आई महिलाओं के लिए उचित व्यवस्था भी की जानी चाहिए थी लेकिन जिम्मेदारों ने महिलाओं की सुध नहीं ली और वह सर्दी के मौसम में अपने दर्द से तड़पती हुई रात गुजरने को मजबूर हुई। 
न्यूनतम 8 डिग्री तापमान में भी जमीन पर लिटाई गई नसबंदी कराई महिलाऐं
सर्दी का मौसम और वह भी करीब 8 डिग्री न्यूनतम तापमान जिसमें स्वयं हष्ट-पुष्ट व्यक्ति भी सर्दी के कहर का सामना करने में आग का अथवा गरम कपड़ों का सहारा लेता है और वह ऐसे माहौल में जमीन में तो कैसे भी करके लेट ही नहीं सकता। बाबजूद इसके जिला चिकित्सालय में नसबंदी कराई महिलाओं को जिला चिकित्सालय के जिम्मेदारों द्वारा 8 डिग्री के इस ठिठुरन भरे तापमान में भी जमीन पर केवल फर्श डालकर लिटा दिया और ओढऩे को उन्हें केवल और केवल कंबल देकर इतिश्री कर दी गई। जब जबकि दिसम्बर माह में ही सर्दी अपना असर दिखा रही है और इससे सामान्य महिला पुरूष किस तरह अपना बचाव कर रहे है इसे आसानी से समझा जा सकता है ऐसे में इन हालातों में भी नसबंदी कराई हुई महिलाओं के लिए पंलग ना डालकर यह अस्पताल प्रबंधन की प्रणाली पर सवालिया निशान है इस मामले को स्वयं जिला स्वास्थ्य अधिकारी व जिलाधीश को देखना चाहिए था और इस मामले में लापरवाहों के खिलाफ कार्यवाही करनी चाहिए थी हालांकि कलेक्टर ने इस मामले में विस्तृत रिपोर्ट देने के लिए डिप्टी कलेक्टर को निर्देश दिए है अब देखना होगा कि इस निर्देश के बाद जो रिपोर्ट मिलेगी उसमें क्या कलेक्टर कोई उचित कदम उठाऐंगी। यह भी काबिलेगौर होगा। 
उत्तर भारत से चली ठंडी हवाओ से शिवुपरी का पारा ठिठुरा, न्यूतम 11 पर आया
उत्तर भारत में हो रही बर्फवारी का असर शिवुपरी में भी देखने को मिल रहा हैं। दिसंबर माह शुरू होते ही तापमान ने गोता लगाना शुरू कर दिया है। उत्तर भारत से लगतार वह रही ठंडी हवाओ के कारण शिवुपरी का पारा भी ठिठुरने लगा हैं। बुधवार को रात का पारा एक डिग्री और नीचे आ गया है। इसी के साथ न्यूनतम तापमान 11 डिग्री पहुंच गया है जो सीजन में सबसे कम है। वहीं दिन के तापमान में भी तीन दिन से लगातार एक-एक डिग्री सेल्सियस की गिरावट आ रही है। तीन दिन में अधिकतम तापमान तीन डिग्री नीचे आया है। शिवपुरी शहर में बुधवार को न्यूनतम तापमान 12 डिग्री सेल्सियस दर्ज किया गया है। जबकि दो दिनों से न्यूनतम तापमान 13 डिग्री चला आ रहा था। अधिकतम तापमान भी 24 डिग्री दर्ज किया है जो एक दिन पहले 28 डिग्री सेल्सियस था। पारा नीचे आने से सुबह व शाम के अलावा अब दिन के समय भी सर्दी का असर बढ़ गया है। तापमान नीचे आने से सुबह और शाम सर्दी पहले से ज्यादा बढ़ गई है। सर्दी की वजह से सुबह की शि ट में लगने वाले स्कूली छात्र-छात्राओं को परेशानी होने लगी है। यदि तापमान इसी तरह गिरता रहा तो छोटे बच्चों के लिए समस्या बढ़ जाएगी। स्कूलों की तरफ से फिलहाल समय में कोई परिवर्तन नहीं किया है।
्रइनका कहना है-
हमने डिप्टी कलेक्टर को भेजा है और अभी मैं भोपाल हंू। मामले को दिखवाते है।
श्रीमती अनुग्रह पी.,
जिला कलेक्टर, शिवपुरी

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