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Friday, November 15, 2019

-शौचालय से दो की मौत, प्रशासन बेखबर-

भ्रष्टाचार की भेंट ने ले ली दो मासूमों की जान, अब प्रशासन कार्यवाही करने का भर रहा दंभ
जांच कमेटी ने पाया घटिया निर्माण के कारण ढही शौचालय की दीवार और हुई दो बच्चों की मौत
शौचालय ना होने के कारण भावखेड़ी में दो मासमों की मौत के बाद अब विधायक के गांव रांठखेड़ा भी गई दो मासूमों की जान
शिवपुरी-जिला प्रशासन की मुखिया भले ही कलेक्टर के रूप में श्रीमती अनुग्रह पी. हो बाबजूद इसके वह जिले में अपनी कार्यशैली से वह संवाद और प्रशासनिक ढांचे में कसावट नहीं ला पा रही जिसकी जनता को उनसे अपेक्षाऐं है। इसका ताजा उदाहरण इन दो मामलों से देखा जा सकता है जिसमें स्वच्छता अभियान के रूप में शौचालय ना होने के कारण एक ओर जहां ग्राम भावखेड़ी में दलित समाज के मासूम दो बच्चों एक बालक और बालिका की हत्याऐं हो गई तो वहीं अब इसी स्वच्छता अभियान के कारण बने घटिया शौचालय के निर्माण ने एक बार फिर से उस घटना की पुनरावृत्ति जैसे हालात निर्मित कर दी जिसमें पोहरी विधानसभा के विधायक सुरेश रांठखेड़ा के ग्राम रांठखेड़ा में ही दो मासूमों की शौचालय की दीवार गिरने से मौत हो गई। इस घटना ने एक बार फिर से जिले की प्रशासनिक व्यवस्थाऐं की चूलें हिला कर रख दी है जो बार-बार सफाई और स्वच्छता को लेकर अपनी लंबी-लंबी ढींगे हांका करते थे और इसी स्वच्छता के शौचालयों के कारण ही जिले में चार मासूमों की जान चली गई। हालांकि अब प्रशासन भले ही कार्यवाही करने का दंभ भरे और टीम बनाकर वहां के मौजूदा हालातों का जायजा ले लेकिन उससे होगा क्या, क्योंकि शौचायल ना होने और शौचालय की दीवाल गिरने के कारण मासूमों को अपनी जान से हाथ धोना पड़ा। ऐसे में इन मासूमों की मौत की जबाबदेही किसकी है जिला प्रशासन उस समय क्या कर रहा था जब दूरस्थ ग्रामीण अंचलों को वह ग्राम पंचायत के सरपंच-सचिवों के भरोसे ही ओडीएफ घोषित कर देता है ओर बाद में उसी ग्राम में शौचालय ना होने के कारण हत्याऐं हो जाती है यह घटना ग्राम भावखेड़ी में हुई और दूसरा वह ग्राम रांठखेड़ा जहां एक शौचालय के गिरने से दो मासूमों की मौत के बाद अन्य ग्रामीणों ने भी अपने शौचालयों की स्थिति को जाना तो देखा कि हाथ लगाने और डण्डा टिकाने मात्र से ही शौचालयों की दीवार गिर रही है। ऐसे में यहां भ्रष्टाचार की पोल खुली है ओर प्रशासन अब भी जांच की बात कहकर जिम्मेदारों पर कार्यवाही करने से बच रहा है। ऐसे हालातों में जिला प्रशासन की प्रशासनिक और ग्रामीण क्षैत्र में संचालित योजनाओं की धरातल पर स्थिति क्या होगी यह इन घटनाओं से जान पड़ती है। इस मामले में जिले की संवेदनशील कलेक्टर श्रीमती अनुग्रह पी. के द्वारा कोई ठोस कदम ना उठाए जाने के कारण यह हालात बने। 
शौचालय की दीवाल गिरने से दो मासूमों की मौत के बाद बनी जांच कमेटी, पाया घटिया निर्माण 
जिले के पोहरी क्षेत्र के ग्राम रांठखेड़ा में दो मासूमों की मौत के बाद मामले में जिला कलेक्टर श्रीमती अनुग्रह पी.द्वारा कमेटी का गठन किया गया जिसमें एसडीएम पोहरी पल्लवी वैद्य को जिम्मेदारी सौंपी और इस जांच कमेटी में स्वच्छता नोडल अधिकारी सत्यमूर्ति पाण्डे व पीडब्ल्यूडी एसडीओ हरिओम अग्रवाल को शामिल किया गया। यह टीम ग्राम रांठखेड़ा पहुंची और और ग्राम में बने शौचालयों की हालत देखी साथ ही घटनास्थल का जायजा लिया और शौचालय के मलबों का सैंपल जांच के लिए। इस दौरान जांच दल में शामिल अधिकारियों ने माना कि शौचालय की हालत खराब थी और वह गुणवत्ताविहीन थे। 
इन दो मासूमों की गई थी जान
पोहरी के रांठखेड़ा में जिन दो मासूमों की मौत शौचालय की दीवार गिरने से हुई उनमें राजा पुत्र घनश्याम आदिवासी उम्र 6 वर्ष और प्रिंस पुत्र वीरू आदिवासी उम्र 6 वर्ष शामिल है जो घटना वाले दिन 11 नवम्बर को अपने घर के आंगन में खेल रहे थे तभी वहां बने शौचालय की दीवार अचानक ढह गई और उसके नीचे दोनों मासूम बच्चे दब गए जिनकी इस दीवार ढहने के कारण दबने से मौत हो गई। यह शौचालय ग्राम रांठखेड़ा द्वारा स्वच्छ भारत मिशन के तहत निर्माण किए गए थे। घटना के बाद जिला प्रशासन चेता और घटना की जानकारी एकत्रित की। 
ग्रामीणों ने ढहाए अपने-अपने शौचालय
ग्राम रांठखेड़ा में शौचालय की दीवार गिरने से दो मासूम बालकों की मौत के बाद ग्रामीणों में भी रोष व्याप्त रहा और कहीं इसी तरह के घटिया क्वालिटी का निर्माण अन्य ग्रामीणों के यहां तो नहीं हुई। इसे लेकर स्वयं ग्राम रांठखेड़ा के ग्रामीणजनों ने जहां स्वच्छता मिशन के तहत शौचालय बनाए गए थे उन्हें स्वयं ही ढहाना शुरू किया तो पाया कि वाकई धक्का मारकर या डण्डा अड़ाकर ही लोगों ने शौचालय की दीवार को देखा तो वह दीवार अपने आप ही ढह गई।
इनका कहना है-
रांठखेड़ा में हुई दो मासूमों की मौत का दु:ख हमें भी है ओर हमने जिला कलेक्टर को ग्राम रांठखेड़ा ही नहीं बल्कि अन्य जगह भी जहां इस तरह के घटिया निर्माण कराए गए है उनकी जांच को लेकर शिकायत की है। जिला प्रशासन उचित कदम उठाए और इन शौचालयों की जांच कर इनका निर्माण करने वाले दोषियों के विरूद्ध कार्यवाही करें।
सुरेश रांठखेड़ा
विधायक, पोहरी, जिला शिवपुरी

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